स्थलीय निरीक्षण कर एक सप्ताह में शासन को सौंपेगा रिपोर्ट
रिपोर्ट-इमामी खां

महोबा
गुरू गोरखनाथ की तपोभूमि गोरखगिरि पर्वत के ऊपर स्थित सिद्ध बाबा मंदिर तक जाने के लिए प्रस्तावित रोपवे परियोजना को अमली जामा पहनाने के लिए लखनऊ से विशेषज्ञों का दल आज गोरखगिरि पहुंचा और पूरे पर्वत क्षेत्र का स्थलीय निरीक्षण किया। इस छह सदस्यीय दल के साथ जिला पर्यटन अधिकारी डा. चित्रगुप्त श्रीवास्तव व बुंदेली समाज के संयोजक तारा पाटकर बुंदेलखंडी भी मौजूद रहे।
मिर्जापुर, चित्रकूट समेत तमाम तीर्थ स्थलों पर रोपवे बनाने वाली निर्माण एजेंसी एक्वा इंजीनियर्स के डायरेक्टर कमांडर आलोक शर्मा ने बताया कि योगी सरकार की मंशा है कि 2027 से पूर्व गोरखगिरि पर्वत पर रोपवे निर्माण कार्य पूरा हो जाए। इसी मंशा से हमें यहां भेजा गया है। हम रोपवे का प्रोजेक्ट बनाकर एक हफ्ते में उच्चाधिकारियों को सौंप देंगे। जिला पर्यटन अधिकारी डॉ चित्रगुप्त श्रीवास्तव ने बताया कि गोरखगिरि पर्वत को आदर्श तीर्थ स्थल के रूप में विकसित करना शासन की शीर्ष वरीयता में है। यहां के लिए 12 करोड़ रुपए का बजट पहले ही जारी हो चुका है। जिससे शिवतांडव मंदिर से सिद्ध बाबा तक जाने वाला मार्ग, मंदिर निर्माण, ध्यान केन्द्र, ओपन एयर थियेटर, सिद्ध सरोवर का सौन्दर्यीकरण का काम चल रहा है। पर्वत के ऊपर रोपवे के साथ गुरू गोरखनाथ की 51 फिट की मूर्ति लगनी है। रोपवे संकरे सन्या तरफ से बने या फिर शिवतांडव तरफ से, इस मुद्दे पर मंथन किया गया।
बुंदेली समाज के संयोजक तारा पाटकर बुंदेलखंडी ने गोरखगिरि पर्वत से जुड़ी तमाम महत्वपूर्ण जानकारी दी। इस मौके पर गया प्रसाद कोस्टा, पुजारी रामदास त्यागी समेत तमाम लोग मौजूद रहे।