डीएम-एसपी की मौजूदगी में पुलिस एवं प्रशासनिक टीमों ने किया मॉक ड्रिल

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    नागरिक सुरक्षा को सुदृढ़ करने एवं जनमानस को जागरूक करने हेतु कराया गया मॉक ड्रिल

    मॉक ड्रिल के दौरान जिला अस्पताल में मुस्तैद नजर आई डॉक्टरों की टीम

    रिपोर्ट-इमामी खां

    जिला अस्पताल में मुस्तैद डॉक्टरों की टीम

    महोबा। भारत सरकार एवं उत्तर प्रदेश शासन एवं पुलिस महानिदेशक द्वारा निर्गत निर्देशों के क्रम में आज बुधवार को मुख्यालय के वीरभूमि डिग्री कालेज में जिलाधिकारी गजल भारद्वाज एवं पुलिस अधीक्षक प्रबल प्रताप सिंह की मौजूदगी में जनपदीय पुलिस एवं प्रशासनिक टीमों द्वारा सुरक्षा संबंधी एडवाइजरी जारी करते हुए संयुक्त रूप से मॉक ड्रिल के जरिए नागरिकों को युद्ध,आपात स्थिति के मद्देनजर नागरिक सुरक्षा सुदृढ़ करने हेतु बचाव का प्रशिक्षण दिया गया l प्रशासन ने आपात स्थिति से निपटने के लिए विभिन्न आयामों को सम्मिलित करते हुए मॉक ड्रिल किया गया l जिसमें सिविल पुलिस,पीएसी,पीआरडी, एनसीसी,एनएसएस,होमगार्ड,फायर सर्विस,आपदा मित्र,भूतपूर्व सैनिक,विद्युत विभाग,चिकित्सकीय टीमों सहित कई संगठन और स्वयंसेवी समूहों द्वारा प्रतिभाग किया गया।
    मॉक ड्रिल युद्धकालीन व अन्य आपात परिस्थिति में नागरिकों को सुरक्षा देने, स्वयं को सुरक्षित रखने, प्राथमिक चिकित्सा देने, हवाई हमले से अलर्ट करने और बिजली आपूर्ति को तत्काल रोककर ब्लैकआउट करने जैसी रणनीतियों के बारे में विस्तार से बताया गया एवं उसके उपरांत उसका सम्यक तरीके से अभ्यास भी कराया गया। आपात स्थिति में सायरन बजने पर क्या करना है और क्या नहीं करना है की जानकारी दी गई।

    क्या करें

    महोबा। स्थानीय प्रशासन,पुलिस या सिविल डिफेंस द्वारा दिये गए निर्देशों को ध्यान से सुनें और उनका कड़ाई से पालन करें। हवाई हमले या युद्ध का सायरन बजते ही तुरन्त घर के अन्दर चले जाये, सुरक्षित आश्रय या पक्के मकान के बेसमेंट,बाथरूम या सीढ़ियों के नीचे शरण लें। रेडियो या आधिकारिक संचार चैनल सुनते रहें। ब्लैकआउट का निर्देश मिले तो घर के बाहर की सभी लाइटें बंद कर दें। यदि कमरें के अन्दर लाईट जलाना आवश्यक है तो इस प्रकार जलाये कि प्रकाश किसी भी दशा में बाहर न जाने पाये। महत्वपूर्ण पर्यटन स्थल,रेलवे स्टेशन,एयरपोर्ट,भीड़-भाड़ के स्थलों से दूरी बनाकर रखें ये सम्भावित टारगेट हो सकते है। यदि आप सिविल डिफेंस, होमगार्ड, पीआरडी, एनसीसी, एनजीओ आदि से जुड़े है तो अपनी जिम्मेदारियों को समझे तथा पड़ोसियों व समुदाय के साथ मिलकर काम करें ताकि सभी लोग सुरक्षित रहें। पानी, प्राथमिक चिकित्सा किट, टॉर्च, रेडियो, मोबाइल चार्जर,पावर बैंक,सूखा भोजन और जरूरी दस्तावेज हमेशा पास में रखें। खिड़कियों से दूर रहें,उन्हें ढक दें। बच्चों, वृद्धों,दिव्यांगों और जानवरों की भी मदद करें उन्हे अपने साथ सुरक्षित रहने दें। स्कूल या डे-केयर में पढ़ने वाले बच्चों को वही रहने दे। यदि खुले स्थल पर है तो जमीन पर लेट जाये और अपना सिर हाथ या किसी वस्तु से ढक लें। हवाई हमले की स्थिति में शांत रहे,भयभीत न हो,सुरक्षित स्थान पर रहें। प्रशासनिक एजेंसियों द्वारा बताये गये सुरक्षित स्थल व रास्तों की जानकारी रखें,जरूरत पड़ने पर शीघ्र वहां पहुंचे। सभी नागरिक,छात्र आदि सिविल डिफेंस प्रशिक्षण में अवश्य भाग लें तथा आसपास के लोगों को भी प्रशिक्षण हेतु प्रेरित करें। सभी नागरिक, छात्र आदि निकासी योजनाओं की तैयारी और अभ्यास का भी प्रशिक्षण प्राप्त करें।सायरन की आवाज सुनते ही सड़क पर वाहन साइड में लगाकर हेड लाइट व इन्डीकेटर बन्द कर दें।

    यह न करें

    महोबा
    प्रशासनिक एजेंसियों द्वारा दिये गये दिशा-निर्देशों को अनदेखा न करें। खुले स्थान पर न जाये। सोशल मीडिया या अनजान स्रोतों से मिलने वाली अफवाहों पर ध्यान न दें। घर के बाहर प्रकाश न रहें। महत्वपूर्ण व भीड़-भाड स्थलों पर जाने से बचें। अपने दायित्वों/कर्तव्यों को अनदेखा न करें। निर्दिष्ट वस्तुओं को अनदेखा न करें। खिड़कियों को खुला न रखें। किसी की भी उपेक्षा न करें। जल्दवाजी (घबराहट) में बच्चों को स्कूल से लाने का प्रयास न करें। खुले स्थान पर एक साथ खड़े न रहे। घबराये नही तथा अफरा-तफरी से बचें। असुरक्षित स्थल पर न रहें। सिविल डिफेंस प्रशिक्षण के प्रति उदासीन न रहें। निकलने के प्रशिक्षण से दूर न रहें। वाहन चलाने से बचें।

    ब्लैकआउट की स्तिथि में ऐसे करें स्थान परिवर्तित

    ब्लैकआउट की स्थिति में कैसे स्थान बदले जाएं, किस दिशा में जाएं और किसे प्राथमिकता दी जाए। इन सभी पर विस्तृत अभ्यास किया गया । ब्लैकआउट की स्थिति में क्या करना है और क्या नहीं करना है के बारे में भी बताया गया। सभी लाइटें और बिजली के उपकरण तुरंत बंद करें घर,दुकान,वाहन,मोबाइल की फ्लैशलाइट आदि। इनवर्टर व जनरेटर बंद करें ताकि बाहरी रोशनी समाप्त हो सके। खिड़‌कियों व दरवाज़ों के परदे बंद करें ताकि रोशनी बाहर न दिखे। वाहन चला रहे हों तो तुरंत किनारे लगाकर बंद कर दें,हेडलाइट और इंडिकेटर बंद रखें।सभी सदस्यों को एक जगह सुरक्षित रखें- विशेष रुप से बच्चों,बुजुर्गों और दिव्यांगजनों को। रेडियो,मोबाइल या अन्य माध्यमों से सरकारी निर्देश सुनते रहें। पड़ोसियों को भी सतर्क करें, विशेषकर अकेले रह रहे लोगों को। जरूरी दवाइयाँ और टॉर्च आदि सामान पहले से तैयार रखें।

    यह कतई न करें

    ब्लैकआउट के दौरान किसी भी प्रकार की रोशनी जलाना,मोमबत्ती,टॉर्च,लाइटर आदि। बाहर निकलकर सड़क पर घूमना या शोर मचाना। वाहन चालू रखना या उसकी लाइट जलाना। अफवाहें फैलाना या भ्रामक जानकारी शेयर करना सोशल मीडिया पर भी नहीं। बिना आवश्यक कारण के फोन कॉल करना आपात सेवाओं की लाइन व्यस्त न करें। किसी भी संदिग्ध वस्तु को छूना या उठाना।सामूहिक रूप से इकट्ठा होना या भीड़ लगाना। सरकारी निर्देशों की अनदेखी करना। छात्रों को भी इस मॉक ड्रिल में शामिल किया गया ताकि वह अपने संपर्क के व्यक्तियों को भी जागरूक कर सकें तथा आने वाली पीढ़ी को भी आपदा प्रबंधन का व्यावहारिक ज्ञान हो सके।
    मॉकड्रिल के दौरान अपर जिलाधिकारी रामप्रकाश,अपर पुलिस अधीक्षक वन्दना सिंह,समस्त क्षेत्राधिकारी,समस्त उपजिलाधिकारी,चिकित्साधिकारी एवं उनकी प्रशिक्षित टीम,प्रतिसार निरीक्षक सहित सम्बन्धित समस्त पुलिस एवं प्रशासनिक अधिकारी एवं कर्मचारीगण मौजूद रहे।

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