बरियारी बालू खदान में बालू खत्म फिर भी मिल गई खनन की इजाजत
बैठक में बालू चोर गैंगस्टर फूल मिश्रा ने उठाया था पत्रकारों का मुद्दा
एडीएम राजेश वर्मा पर शालनी पटेल ने अवैध खनन में शामिल होने का लगाया था आरोप
उत्तर प्रदेश के बांदा जिले में वैध खनन की आड़ में जमकर अवैध खनन किया जा रहा है जिसमें कुछ जिम्मेदार अधिकारियों की विशेष भूमिका बनी हुई है। ताजा तस्वीरें जनपद के हटेटी पूर्वा बालू खदान से सामने आई है जहां जमकर अवैध खनन किया जा रहा है और अवैध खनन छिपाने के लिए लगे हांथ उसे पूर भी दिया जा रहा है पट्टाधारकों को यह जान अधिकारियों ने ही दिया है ताकि अवैध खनन से बचा सकें पर सच्चाई छिपाई नहीं जा सकती वहीं हटेटी बालू खदान संचालकों ने नदी की जलधार तक बांध दी है जिसका विरोध ग्रामीणों ने किया है। वहीं विगत दो माह पहले बरियारी बालू खदान में लगभग एक करोड़ रुपए का जुर्माना लगा था जिसके बाद खदान बंद हो गई थी चूंकि खंड में बालू नहीं बची थी पर अधिकारियों से साठ गांठ कर एक बार फिर बरियारी बालू खदान चल पड़ी है जिसमें नरैनी एसडीएम, तहसीलदार और लेखपाल की भूमिका संदिग्ध दिखाई पड़ रही है। क्योंकि अब पूरा खनन नदी की जलधारा से हो रहा है और पर्यावरण प्रदूषित किया जा रहा है। वहीं पर्यावरण विभाग भी ऐसी रूम में बैठ कर भ्रष्टाचार की मलाई चाट रहा है। हाल ही में गुप्त सूत्रों ने बताया कि बालू कारोबारियों के साथ एडीएम राजेश वर्मा ने बैठक की थी जिसमें बालू चोर गैंगस्टर का आरोपी फूल मिश्रा भी शामिल हुआ था जिसकी कुड़की तक हो चुकी है पर वह बाज नहीं आ रहा वह हटेटी पूर्वा बालू खदान में पार्टनर के रूप में शामिल बताया जा रहा है तभी बैठक के दौरान फूल ने पत्रकारों का मुद्दा छेड़ दिया कि पत्रकारों की वजह से वह मनमाने ढंग से खनन नहीं कर पा रहे जिसका जवाब देते हुए एडीएम राजेश वर्मा ने कहा यहां के पत्रकार चिरकुट हैं उन्हें जो चलाना है चलाने दो फर्क नहीं पड़ता कार्रवाई हमें करनी है कुछ नहीं होगा यह वही एडीएम राजेश वर्मा है जिसके खिलाफ शालनी पटेल आमरण अनशन पर बैठी थी और अवैध खनन में शामिल होने के आरोप लगाए थे और संपत्ति की जांच की मांग की थी।
यही कारण है कि हटेटी पूर्वा और बरियारी जैसी बालू खदान में जमकर अवैध खनन हो रहा है।
जब सैंया भयो कोतवाल तो डर कहेका